चीर देते हैं लफ्ज़ नस्तर की तरह, कर्ज़ उतरता ही नहीं इश्क़-ए-उधारी का । जानते सबकुछ है पर ख़ामोश रहते हैं, बताएंगे कभी हुनर उनकी मक्कारी का । 677 viewsAhad shah, 03:17